Chandra Grahan 2025: गर्भवती महिलाएं अपनाएं ये सावधानियां, जानें क्या करें और क्या नहीं
7 सितंबर 2025 का चंद्र ग्रहण, जानें गर्भवती महिलाओं के लिए जरूरी सावधानियां और उनका कारण।

Chandra Grahan 2025: 7 सितंबर 2025 को होने वाला चंद्र ग्रहण धार्मिक और ज्योतिषीय दोनों ही दृष्टिकोण से बहुत महत्वपूर्ण है। हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, इस दौरान गर्भवती स्त्रियों को विशेष सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है, क्योंकि ग्रहण काल को नकारात्मक ऊर्जा का समय माना जाता है।यह खबर गर्भवती महिलाओं के लिए जरूरी है, ताकि वे अपने और अपने बच्चे की सुरक्षा सुनिश्चित कर सकें।
क्या हैं चंद्रग्रहण के दौरान सावधानियां?
चंद्रग्रहण के समय गर्भवती महिलाओं को कुछ खास बातों का ध्यान रखना चाहिए। ज्योतिषियों के अनुसार, इस दौरान घर के अंदर रहें और खिड़कियां-दरवाजे पर्दों से ढक लें। मंत्र जाप जैसे ‘महामृत्युंजय मंत्र’ या ‘गायत्री मंत्र’ करने से सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है। ग्रहण से पहले और बाद में स्नान जरूरी है। गर्भवती महिलाएं ताजे फल और सात्विक भोजन ले सकती हैं, लेकिन भारी भोजन से बचें। ये उपाय बच्चे और मां की सुरक्षा के लिए जरूरी माने जाते हैं।
क्यों और कब जरूरी हैं ये सावधानियां?
हिंदू शास्त्रों में चंद्रग्रहण को नकारात्मक ऊर्जा का समय माना जाता है, जो गर्भस्थ शिशु पर असर डाल सकता है। इसलिए गर्भवती महिलाओं को सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है। 7 सितंबर 2025 को होने वाला यह चंद्र ग्रहण रात 9:58 बजे शुरू होकर 1:26 बजे तक चलेगा। इसका सूतक काल दोपहर 12:19 बजे से लगेगा। यह जानकारी अमर उजाला के ज्योतिष डेस्क द्वारा 7 सितंबर 2025 को दी गई। ये सभी सावधानियाँ विशेष रूप से भारत के हिंदू समुदाय में मानी जाती हैं।
कहां लागू, कैसे करें और कौन करे?
ये सावधानियां पूरे भारत में लागू हैं, जहां लोग धार्मिक मान्यताओं का पालन करते हैं। गर्भवती महिलाएं ग्रहण के समय कैंची, चाकू या सुई जैसे नुकीले सामान का इस्तेमाल न करें। धातु की चूड़ियां या पिन पहनने से बचें। श्रीमद्भगवद्गीता या सुंदरकांड का पाठ करना शुभ है। गर्भवती महिलाएं और उनके परिवार वाले ये उपाय कर सकते हैं। ज्योतिषी और धार्मिक गुरु इन उपायों की सलाह देते हैं। अगर आप गर्भवती हैं या आपके परिवार में कोई गर्भवती है, तो इन सावधानियों को अपनाएं और ज्योतिषी से सलाह लें।